बिहार विधानसभा चुनाव 2025 से पहले राज्य सरकार ने महिलाओं के लिए एक बड़ी घोषणा की है। मुख्यमंत्री ने महिला रोजगार योजना की शुरुआत करने का ऐलान किया है, जिसके तहत ग्रामीण व शहरी दोनों क्षेत्रों की महिलाएं आत्मनिर्भर बन सकेंगी। इस योजना का मुख्य उद्देश्य महिलाओं को आर्थिक रूप से मजबूत करना और उन्हें स्वरोजगार से जोड़ना है।
क्या है महिला रोजगार योजना?
महिला रोजगार योजना के अंतर्गत महिलाओं को छोटे-छोटे कारोबार शुरू करने के लिए 10,000 रुपये से लेकर 10 लाख रुपये तक की वित्तीय सहायता दी जाएगी। इसमें महिलाओं को बिना किसी गारंटी के आसान शर्तों पर ऋण और सरकारी सहयोग मिलेगा। यह योजना खास तौर पर उन महिलाओं के लिए है, जो स्वरोजगार करना चाहती हैं या छोटे स्तर पर अपना व्यवसाय शुरू करना चाहती हैं।
महिलाएं इस योजना के तहत सिलाई-कढ़ाई, ब्यूटी पार्लर, डेयरी, पापड़-अचार निर्माण, किराना दुकान, कपड़े का व्यवसाय, ऑनलाइन बिज़नेस, मोबाइल रिपेयरिंग, कोचिंग सेंटर, बेकरी, फूड प्रोसेसिंग जैसे काम शुरू कर सकती हैं।
आवेदन की प्रक्रिया
इस योजना का लाभ उठाने के लिए महिलाओं को ऑनलाइन आवेदन करना होगा। सरकार ने इसके लिए विशेष पोर्टल जारी किया है, जहां महिलाएं अपनी जानकारी भरकर पंजीकरण कर सकती हैं। ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाली महिलाएं स्वयं सहायता समूहों और पंचायत स्तर पर भी आवेदन कर सकती हैं। इसके लिए जीविका दीदियों और ब्लॉक स्तर के अधिकारियों की मदद ली जाएगी।
ऑनलाइन आवेदन के बाद संबंधित विभाग दस्तावेजों की जांच करेगा और फिर लाभार्थियों का चयन किया जाएगा। चयनित महिलाओं को सीधे उनके बैंक खाते में राशि उपलब्ध कराई जाएगी।
महिला रोजगार योजना की शर्तें
- आवेदक महिला बिहार राज्य की स्थायी निवासी होनी चाहिए।
- आयु सीमा 18 से 60 वर्ष के बीच निर्धारित की गई है।
- महिला या उसके परिवार की वार्षिक आय निर्धारित सीमा के भीतर होनी चाहिए।
- आवेदन करने वाली महिला पहले से किसी स्वरोजगार समूह से जुड़ी हो या जुड़ने को तैयार हो।
सरकार का उद्देश्य
मुख्यमंत्री का कहना है कि इस योजना से न सिर्फ महिलाओं को आर्थिक मजबूती मिलेगी, बल्कि परिवार और समाज दोनों को लाभ होगा। इससे महिलाओं की भागीदारी बढ़ेगी और राज्य में स्वरोजगार के नए अवसर पैदा होंगे।