उत्तर प्रदेश में गरीब और जरूरतमंद लोगों के लिए घर का सपना अब साकार होने जा रहा है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की सरकार ने प्रधानमंत्री आवास योजना (शहरी) 2.0 के लिए एक बड़ा फैसला लिया है। वित्तीय वर्ष 2025-26 के लिए सरकार ने 735.94 करोड़ रुपये की राशि स्वीकृत की है, जिससे राज्य में 2,52,605 आवासों का निर्माण किया जाएगा।
गरीबों को मिलेगा पक्का आशियाना
सरकार का कहना है कि इस योजना का उद्देश्य राज्य के उन गरीब परिवारों को पक्का आशियाना देना है, जो अभी तक अपने घर के लिए तरस रहे थे। केंद्र और राज्य सरकार की साझेदारी से चल रही इस योजना में पारदर्शिता और गुणवत्ता दोनों को सर्वोच्च प्राथमिकता दी गई है।
पारदर्शिता और निगरानी
योजना के तहत बनने वाले हर घर की जियो-टैगिंग अनिवार्य होगी ताकि कोई भी गड़बड़ी न हो। निर्माण कार्य की गुणवत्ता बनाए रखने के लिए फोटो और वीडियो रिकॉर्डिंग का प्रावधान किया गया है। यही नहीं, राष्ट्रीय भवन संहिता (NBC) के नियमों का पालन करना भी आवश्यक होगा।
दिव्यांगजन और आपदा प्रभावितों को प्राथमिकता
सरकार ने स्पष्ट किया है कि इस योजना में दिव्यांगजन और आपदा प्रभावित वर्गों के लिए विशेष सुविधाएं शामिल की जाएंगी। इसका मकसद केवल घर बनाना नहीं, बल्कि जरूरतमंदों को सुरक्षित और सुविधाजनक आवास उपलब्ध कराना है।
भुगतान और अनुदान की शर्तें
लाभार्थियों को मिलने वाली राशि एक तरह से अनुदान होगी, लेकिन उन्हें यह रकम किस्तों के साथ ब्याज सहित सरकार को लौटानी होगी। सरकार का कहना है कि यह व्यवस्था इसलिए की गई है ताकि योजना का लाभ केवल वास्तविक जरूरतमंदों तक पहुंचे और प्रक्रिया में पारदर्शिता बनी रहे।
मुख्यमंत्री का विज़न
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने पहले भी कई बार कहा है कि उनकी सरकार का लक्ष्य है कि प्रदेश का कोई भी गरीब परिवार बेघर न रहे। यही वजह है कि प्रधानमंत्री आवास योजना (शहरी) 2.0 को तेजी से आगे बढ़ाया जा रहा है।
अधिकारियों की प्रतिक्रिया
नगर विकास विभाग के प्रमुख सचिव अमृत अभिज्ञान ने जानकारी दी कि यह परियोजना राज्य की सबसे बड़ी और महत्वपूर्ण आवासीय योजनाओं में से एक है। उनका कहना है कि इस योजना से लाखों गरीब परिवारों का जीवन बेहतर होगा और उन्हें सम्मानजनक जीवन जीने का अवसर मिलेगा।